परिवार बचेंगे तो रिश्ते बचेंगे और रिश्ते बचेंगे तभी आएगी खुशहाली जिला नोडल अधिकारी नीरज पाराशर ने कहा
खंडवा ।मध्य प्रदेश राज्य आनंद संस्थान आनंद विभाग द्वारा अंतराष्ट्रीय परिवार दिवस पर 15 मई 2024 बुधवार को शासकीय महाविद्यालयीन कन्या छात्रावास सिविल लाइंस खंडवा में एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमे विभिन्न वक्ताओं ने परिवार का इतिहास,आवश्यकता और महत्व पर प्रकाश डाला।
आनंद विभाग के नोडल अधिकारी नीरज पाराशर ने कहा की पहले समाज में सयुक्त परिवार हुआ करते थे। तब परिवार के बीच प्रेम रहता था।सब सुरक्षित महसूस करते थे।बच्चो को बुजुर्गो से संस्कार मिलते थे।अब तो परिवार नामक इकाई खतरे में हे जिसे बचाने के लिए हमे आगे आना होगा। बच्चो को शिक्षा के साथ संस्कार देने की जरूरत है तभी परिवार मजबूत और खुशहाल बन सकेंगे और देश और दुनिया विकास कर पायेगी । मंडल संयोजक वीरेंद्र वर्मा ने कहा की पहले बच्चों को दादा दादी और नाना नानी खेल खेल में कहानियों के माध्यम से नैतिक शिक्षा और संस्कार देते थे। अब बुजुर्ग उपेक्षित हो रहे हे। परिवारों को बचाने हेतु सकारात्मक पहल करनी चाहिए। डिस्ट्रिक्ट प्रोग्राम लीडर के बी मंसारे ने भी परिवारों का महत्व बताया। मंडल संयोजक प्रमोद काशीकर ने कहा परिवार बचाना हे तो घरों में सेवा , सहिष्णुता ओर संस्कार को बढ़ावा देना होगा। जिला संपर्क व्यक्ति गणेश कानडे ने बताया संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा 1993 में 15 मई को प्रतिवर्ष परिवार दिवस मनाने की शुरूआत की थी ।इस बार उसकी 30 वी वर्षगांठ मनाई जा रही है।इस वर्ष की थीम परिवार और जलवायु परिवर्तन रखी गई हे जिसमे परिवार और धरती को बचाने के लिए परिवारो की भूमिका तय की गई है।मास्टर ट्रेनर सुभाष शर्मा सर,मनीषा पाटिल और नारायण फरकले ने भी अपने विचार रखे।
इस अवसर ओम प्रकाश कोचले सहित पुष्पा अटूट, हॉस्टल अधीक्षक सुमन तिर्की,रवि कुमार पांडे,बरखा पांडे,छात्रा जय श्री जलखंडे,संजू चौहान,सुनीता रावत,अनिता कास्डे ,भावना,मयूरी पाटिल कविता सराठे सहित अन्य छात्राए उपस्थित थी।कार्यकम का संचालन गणेश कानड़े ने किया एवं आभार नारायण फरकले ने माना।