खंडवा।। मालीकुंआ स्थित सदभावना मंच पर मातोश्री अहिल्या बाई की 300 वीं जयंती मंच अध्यक्ष प्रमोद जैन की उपस्थिति में गौरव दिवस के रूप में मनाई गयी। यह जानकारी देते हुए मंच के निर्मल मंगवानी ने बताया कि शुक्रवार को देवी जी के छाया चित्र पर पुष्पांजली अर्पित करते हुए श्री जैन ने कहा कि राज्य की प्रजा अहिल्या बाई होलकर को देवी मानती थी। आज भी लोग उन्हें मातोश्री देवी अहिल्या बाई होलकर के नाम से संबोधित करते है। इसके पीछे वजह यह भी रही कि उन्होंने अपने राज्य की सीमा से बाहर पूरे देश में मानवता की भलाई के लिए कार्य कियें। वही पूर्व डीएसपी आनन्द तोमर ने कहा कि त्रेतायुग में रावण और आधुनिक युग में अहिल्या बाई को भगवान शिव का सबसे बड़ा उपासक माना जाता है। मराठा साम्राज्य की महारानी अहिल्या बाई का खरगोन से बड़ा ही गहरा नाता रहा है। यहीं वजह है कि हर साल 31 मई को होलकर राजवंश परिवार द्वारा इंदौर की बजाय महेश्वर में ही अहिल्या बाई का जन्मदिन मनाया जाता है। इस दौरान मंच के प्रमोद जैन, आनंद तोमर, सुनिल जैन, देवेंद्र जैन, गणेश भावसार, निर्मल मंगवानी, एनके दवे, राधेश्याम शाक्य, ओम पिल्लै, वैज्ञानिक अर्जुन बुंदेला, राजेश पोरपंथ आदि सहित मंच सदस्यों द्वारा पुष्पांजलि अर्पित की गई।