साधन सुविधाओ का आनंद से कोई संबंध नहीं अभाव में भी आनंद से रहते हे लोग … ,जिला संपर्क व्यक्ति कानडे ने कहा
खंडवा।मध्य प्रदेश राज्य आनंद संस्थान ,आनंद विभाग द्वारा 22 जून शनिवार को आंगनवाडी कार्यकर्ताओ के लिए एक दिवसीय अल्पविराम कार्यशाला जनपद सभागृह हरसूद में आयोजित की गई ।इसमें 70 आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओ ने भाग लिया जिन्हे आनंदपूर्ण जीवन जीने के तरीके बताए गए।हरसूद में आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा आनंदम केंद्र खोले जाने का निर्णय भी लिया गया।
कार्यशाला के आरंभ में जिला संपर्क व्यक्ति एवम मास्टर ट्रेनर गणेश कानडे ने संस्थान का परिचय वीडियो दिखाया और अपने सम्बोधन में कहा की हमारे जीवन का वास्तविक उद्देश्य आनंद पूर्ण जीवन जीना हे लेकिन हम साधन सुविधाओ को इकट्ठा करना ही अपना उद्देश्य मान बैठे है जबकि अभाव में रहकर भी आनंद से रह सकते है ।साधन सुविधाएं जुटाकर भी लोग आनंद में नही है जबकि अभावों में भी लोग आनंद में है ।कार्यशाला में प्रतिभागियों ने अपना नाम,बचपन का नाम और अपनी अभिरुची बताई ।बचपन की यादों में खोकर सभी को आनंद की अनुभूति हुई।मास्टर ट्रेनर मनीषा पाटिल ने फ्रीडम ग्लास विधि के माध्यम से अपने भीतर मौजूद बुराइयो को दूर करने हेतु प्रतिदिन अल्पविराम करने और इसे अपने जीवन का हिस्सा बनाने की बात कही।प्रतिक रूप में उन्होंने अपने जीवन रूपी ग्लास से कील,मिर्ची और पत्थर निकालकर दिखाया और इससे उनके जीवन में आए बदलाव की स्टोरी शेयर की ।मास्टर ट्रेनर नारायण फरकले ने जीवन का लेखा जोखा विधि के माध्यम से खुश रहने और माफी और मदद की भावना को विकसित कर आनंद पूर्वक जीवन जीने की कला बताई । आनंदम सहयोगी नीतू ठाकुर और उपेंद्र ठाकुर ने परिवर्तन की कहानी शेयर की ।आनंदम सहयोगी चंद्रकांत उपाध्याय ने प्रेरक गीत प्रस्तुत किए। प्रतिभागियों में यशोदा राजपूत, भारती श्रीवास, संध्या पटेल, विजयलक्ष्मी शर्मा,माया राजपूत, सुनिता श्रीवास्तव,राजश्री छापरे, सरोज गौर,टीना साखला,रानी हरणे ,सुलोचना यादव,रेखा राठौर, कृष्णा मीना आदि ने अपने जीवन की मदद ओर कष्ट संबंधी स्टोरी शेयर की। इस अवसर पर महिला एवम बाल विकास परियोजना अधिकारी शर्मा ने भी अपने विचार रखे।सभी को प्रमाण पत्रों का वितरण किया गया।